अमृतसर: शिवरात्रि के अवसर पर हनुमान और बाहुबली की पोशाक पहनने वाले दो लोगों के खिलाफ अमृतसर के छेहरटा पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज किया गया है। बाला जी धाम घनुपुर काले की ओर से इन दो व्यक्तियों के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई गई थी, जिसके बाद पुलिस ने कार्रवाई करते हुए मामला दर्ज कर लिया है।
धार्मिक परंपराओं का उल्लंघन:
भारत एक धार्मिक देश है, जहां विभिन्न धर्मों और उनके रीति-रिवाजों के अनुसार लोग अपने त्योहार मनाते हैं। खासकर नवरात्रि के दौरान अमृतसर में बड़ी संख्या में लोग हनुमान मंदिर में पूजा अर्चना के लिए जाते हैं और श्रद्धा के अनुसार लंगूर का रूप धारण करते हैं। हालांकि, पिछले कुछ वर्षों से हनुमान की विशाल और बाहुबली की पोशाक पहनकर झांकी बनाने का चलन बढ़ा है, जिसे कई हिंदू संगठनों ने विरोध किया है।
बाहुबली की पोशाक का विरोध:
कुछ हफ्ते पहले शिवरात्रि के अवसर पर भगवान शिव और पार्वती जी के स्वरूप के साथ-साथ बाहुबली के स्वरूप में लोग मंच पर नृत्य कर रहे थे। यह झांकी हिंदू संगठनों द्वारा विरोध का कारण बनी, और इसके बाद बाला जी धाम घनुपुर काले के अशनील महाराज ने अमृतसर के छेहरटा थाने में शिकायत दर्ज कराई।
सख्त कार्रवाई की चेतावनी:
छेहरटा थाने की पुलिस ने सख्त कार्रवाई करते हुए दो लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया। इसके बाद अशनील महाराज ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में पुलिस का आभार जताया और कहा कि भविष्य में अगर कोई हनुमान जी का बहुआयामी रूप तैयार कर झांकी प्रस्तुत करेगा, तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि अस्सू के नवरात्रों के दौरान लंगूर बनने की परंपरा है, लेकिन अगर किसी ने इस परंपरा के साथ छेड़छाड़ करते हुए बहुरूपिया रूप तैयार किया तो उसे कड़ी सजा दी जाएगी।
इस घटना से साफ है कि धार्मिक मान्यताओं और परंपराओं का सम्मान करना हर किसी की जिम्मेदारी है, और ऐसे मामलों में सख्त कार्रवाई की आवश्यकता है।