जयपुर: प्रदेश में खाद्य सुरक्षा योजना का लाभ लेने वाले 34 लाख उपभोक्ताओं ने अब तक ई-केवाईसी नहीं करवाई है। सरकार ने इस पर सख्त कदम उठाते हुए इन उपभोक्ताओं का राशन इस माह से रोक दिया है। खाद्य एवं आपूर्ति विभाग ने ई-केवाईसी न करवाने वालों के खाद्य सुरक्षा कार्ड को पॉश मशीनों पर लॉक कर दिया है।
कोटा जिले में 60,000 उपभोक्ताओं का राशन रोका
कोटा जिले में ई-केवाईसी न करवाने वाले 60,000 उपभोक्ताओं को इस माह से सरकारी गेहूं नहीं मिलेगा। खाद्य सुरक्षा योजना के तहत लाभ लेने के लिए उपभोक्ताओं की ई-केवाईसी अनिवार्य की गई थी।
ई-केवाईसी का उद्देश्य और प्रक्रिया
पिछले दो वर्षों से खाद्य सुरक्षा के राशन कार्डधारकों की ई-केवाईसी की प्रक्रिया चल रही थी। हालांकि, प्रदेश में 10 से 60 साल की आयु वर्ग के 34 लाख उपभोक्ताओं ने अभी तक ई-केवाईसी नहीं करवाई है। इस प्रक्रिया के माध्यम से यह सुनिश्चित किया जा रहा है कि राशन कार्ड के जरिए केवल वास्तविक लाभार्थी ही खाद्य सुरक्षा का लाभ उठा सकें।
मानवीय आधार पर राहत
प्रदेश सरकार ने मानवीय आधार पर 60 साल से ऊपर और 10 साल से छोटे बच्चों को ई-केवाईसी की बाध्यता से बाहर रखा है।
कई जिलों में राशन कार्ड ब्लॉक
ई-केवाईसी न करवाने के कारण कई जिलों में राशन कार्ड ब्लॉक हो गए हैं। इन जिलों में शामिल हैं:
- अजमेर: 97,768
- अलवर: 2,05,662
- बांसवाड़ा: 1,21,949
- बारां: 1,09,393
- बाड़मेर: 1,41,943
- भरतपुर: 1,07,103
- भीलवाड़ा: 1,07,571
- प्रतापगढ़: 45,955
- राजसमंद: 91,989
- सवाईमाधोपुर: 66,326
- सीकर: 1,65,360
- सिरोही: 74,717
- टोंक: 61,512
- उदयपुर: 2,72,294
ई-केवाईसी से जुड़ी समस्याएं
ई-केवाईसी न करने के कारण कई उपभोक्ता अब सरकारी गेहूं से वंचित हो गए हैं। इस स्थिति को लेकर राशन विक्रेताओं और उपभोक्ताओं में असंतोष फैल रहा है। भंवरसिंह, अध्यक्ष, राशन विक्रेता संघ झालावाड़ ने बताया कि गेहूं नहीं मिलने के कारण उपभोक्ता झगड़ों पर उतारू हो गए हैं।
राशन कार्ड पुनः सक्रिय करवाने की प्रक्रिया
जो उपभोक्ता अब तक ई-केवाईसी नहीं करवा पाए हैं, उनके राशन कार्ड ब्लॉक कर दिए गए हैं। राशन कार्ड को पुनः सक्रिय करवाने के लिए एक निर्धारित प्रक्रिया है।