Happy Birthday: जन्मदिन के शुभ अवसर पर जानें श्री श्री रविशंकर के जीवन की कुछ खास बातें….
श्री श्री रविशंकर हर साल करते हैं करीब 40 देशों की यात्रा और जानते हैं सात भाषाएं
नई दिल्ली। आज आर्ट ऑफ लिविंग के संस्थापक श्री श्री रविशंकर का 68वां जन्मदिन है। श्री श्री भारत के ऐसे पहले आध्यात्मिक गुरु हैं, जिन्हें इराक आने का न्यौता मिला था। अब तक तीन बार इराक का दौरा कर चुके हैं।1982 में श्री श्री ने कर्नाटक के शिमोगा में दस दिन का मौन धारण किया था। इसके बाद सुदर्शन क्रिया का जन्म हुआ। सुदर्शन क्रिया आर्ट लिविंग की बहुत लोकप्रिय विद्या है। सुदर्शन क्रिया सांस लेने की प्रक्रिया है। आर्ट ऑफ लिविंग के माध्यम से श्री श्री ने लाखों की मानसिक अशांति दूर की है।
जीवन परिचय
श्री श्री रविशंकर का जन्म 13 मई सन 1956 में तमिनाडु के पापनाशम नामक गांव में हुआ था। उनके पिता का नाम व वेंकट रत्नम् था जो भाषाकोविद् थे। उनकी माता का नाम विशालाक्षी था। आदि शंकराचार्य से प्रेरणा लेते हुए उनके पिता ने उनका नाम रखा ‘रविशंकर’।
अपने नाम के आगे जोड़ा ‘श्री श्री’
रविशंकर पहले महर्षि महेश योगी के शिष्य थे। उनके पिता ने उन्हें महेश योगी को सौंप दिया था। अपनी विद्वता के कारण रविशंकर महेश योगी के प्रिय शिष्य बन गये। उन्होंने अपने नाम रविशंकर के आगे ‘श्री श्री’ जोड़ लिया जब प्रख्यात सितार वादक रवि शंकर ने उन पर आरोप लगाया कि वे उनके नाम की कीर्ति का इस्तेमाल कर रहे हैं।
शिक्षा
रविशंकर की शुरुआती शिक्षा एमएसई बेंगलुरु स्कूल से हुई थी। जिसके बाद उन्होंने बेंगलुरु के सेंट जोसेफ कॉलेज से ग्रेजुएट की डिग्री प्राप्त की।
चार वर्ष की उम्र में ही बालक रविशंकर भगवद गीता का पाठ करने लगे थे। बचपन से ही उनकी रूचि ध्यान करने में थी। उन्होंने वैदिक साहित्य और भौतिक विज्ञान के विषयों में पढ़ाई की है।
दर्शन
रवि शंकर कहते हैं कि सांस शरीर और मन के बीच एक कड़ी की तरह है जो दोनों को जोड़ती है। इसे मन को शांत करने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है। 2001 में जब आतंकवादियों ने विश्व व्यापार संगठन पर हमला किया तो आर्ट ऑफ लिविंग फाउंडेशन ने पूरे न्यू यार्क के लोगों के निःशुल्क तनाव को दूर करने के कोर्स करवाया। इस संस्था ने कोसोवो में युद्ध से प्रभावित लोगों के लिए सहायता कैम्प भी लगाया।
उपलब्धियां
श्री श्री रविशंकर की सेवाओं को देखते हुए उन्हें नेशनल वेटरैन्स फाउंडेशन अवार्ड,अमेरिका, वर्षद कन्नडिगा, ईटीवी, आर्डर पोल स्टार,मगोलिया का सर्वश्रेष्ठ पुरस्कार, पद्मविभूषण जैसे कई पुरस्कार भी प्राप्त हुए हैं।