तीन लाख के इनामी पांच कुख्यात अपराधियों को भारी मात्रा में हथियार और गांजा के साथ किया गया गिरफ्तार
हत्या, लूट, बैंक डकैती, रंगदारी समेत दर्जनों मामलों में चल रहा था फरार
समस्तीपुर : समस्तीपुर पुलिस को एक बड़ी कामयाबी मिली है। जिले के कल्याणपुर एवं चकमेहसी थाना क्षेत्र में दहशत का पर्याय बन चुके रमेश ठाकुर उर्फ शंकर ठाकुर को समस्तीपुर पुलिस ने भारी मात्रा में हथियार व साढ़े तीन किलो गांजा के साथ गिरफ्तार किया है। अंतरराष्ट्रीय अपराधी रमेश ठाकुर को जिला पुलिस की स्पेशल टीम के द्वारा गिरफ्तार किया गया है। वर्ष 2011-12 में नेपाल में सोना एवं लाखों रूपये लूटने के तीन मामलों में वह सजायाफ्ता था। रमेश ठाकुर 6 साल तक काठमांडू जेल में बंद रहा था। वहीं हरियाणा के भिवाड़ी एक्सिस बैंक लूट कांड, धनबाद एवं जमशेदपुर बैंक लूट सहित कई मामलों में पुलिस को वर्षों से उसकी तलाश थी।
बुधवार को कल्याणपुर थाने पर आयोजित प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए एसपी विनय तिवारी ने बताया कि रमेश ठाकुर समेत 5 अपराधियों को गिरफ्तार किया गया है। रमेश ठाकुर नेपाल के विराटनगर एवं सीमावर्ती क्षेत्र में छिपकर देश के कई राज्यों में लूट की घटना को अंजाम देता था। वह कल्याणपुर और चकमेहसी थाना क्षेत्र में कई व्यवसायियों से रंगदारी मांगने, हत्या एवं लूट के कई मामलों में भी वांछित चल रहा था। रमेश ठाकुर के निशानदेही पर उसके चार अन्य सहयोगी जिसमें मिल्की निवासी शिवचंद सिंह के पुत्र सुजीत कुमार, चकसीमा सोमनाहा निवासी रामनरेश महतो के पुत्र किशन कुमार, सोमनाथ निवासी स्व. गया ठाकुर के पुत्र रंजीत ठाकुर और करूआ निवासी किशुनी महतो के पुत्र मणि भूषण कुमार को भी पुलिस ने गिरफ्तार किया है। यह चारों चकमेहसी थाना क्षेत्र के रहने वाले है। एसपी विनय तिवारी ने बताया कि रमेश ठाकुर की गिरफ्तारी के लिए जिला पुलिस लगातार प्रयास कर रही थी। लेकिन हर बार वह भागने में सफल हो जा रहा था तथा नेपाल में रहने के कारण वह पुलिस की नजरों से बचा हुआ था। रमेश ठाकुर की गिरफ्तारी के लिए 3 लाख रूपये के इनाम की राशि का प्रस्ताव भी राज्य सरकार को भेजा गया था।
गिरोह के मुख्य सदस्य पटना बेउर जेल में बंद पुल्लू सिंह एवं फरार रविंद्र साहनी, रम्मी सिंह उर्फ रमिया उर्फ रविरंजन से लगातार संपर्क में रहकर देश के विभिन्न राज्यों में घटना कर रहा था। साथ ही कल्याणपुर चकमेहसी थाना क्षेत्र के स्थानीय अपराधिक सहयोगियों से संपर्क कर क्षेत्र के व्यवसायियों से लगातार रंगदारी की मांग कर रहा था। रमेश ठाकुर बीच-बीच में समस्तीपुर आकर चौक-चौराहों पर गोली फायरिंग कर स्थानीय लोगों में काफी दहशत का माहौल बनाकर पुन: नेपाल भाग जाता था। प्रायः यह सूचना मिल रही थी कि रमेश ठाकुर कई स्थानीय छोटे-बड़े कारोबारियों से रंगदारी के रूप में अच्छी खासी रकम वसूल रहा था। लोग उसके भय से बिना पुलिस को सूचना दिए रंगदारी के रूप में राशि को रमेश ठाकुर तक विभिन्न माध्यमों से पहुंच रहे थे। इसी क्रम में समस्तीपुर पुलिस की स्पेशल टीम को सूचना मिली कि 16 जनवरी को रमेश ठाकुर को कल्याणपुर थाना क्षेत्र में देखा गया है। इस सूचना पर पुलिस की स्पेशल टीम के द्वारा रमेश ठाकुर को शाम के समय में एक देसी लोडेड पिस्तौल और गांजा के साथ गिरफ्तार किया गया है।
गिरफ्तार रमेश ठाकुर ने पूछताछ करने पर समस्तीपुर जिला में घटित कई लूट, हत्या, रंगदारी सहित बिहार राज्य के कई जिलों सह झारखंड, हरियाणा एवं नेपाल में कई लूट की घटनाओं में अपनी संलिप्तता स्वीकार की है। एसपी विनय तिवारी ने बताया कि रमेश ठाकुर से हुई पूछताछ में उसने बताया कि वह अपने कई आपराधिक साथियों के साथ गोपालपुर बांध के पास गाछी में पुराने मंदिर पर अपराधिक घटनाओं अंजाम देने के लिए एकत्रित होता है। इस सूचना पर पुनः समस्तीपुर पुलिस की स्पेशल टीम के द्वारा बीते रात्रि रमेश ठाकुर के गैंग के चार अन्य अपराधियों को दो देसी कट्टा, एक देशी पिस्तौल, एक एकनाली बंदूक के साथ गिरफ्तार किया गया। वहीं इस दौरान 5-6 अपराधी वहां से भागने में सफल रहे।
रमेश ठाकुर ने पुलिस को बताया कि उसे कई थानों की पुलिस लगातार खोज रही थी। इस कारण वह नेपाल में रहकर ही अपने रिश्तेदार सहयोगी सुपौल जिले के मधुबानी गांव में मंजय ठाकुर के मोबाईल का प्रयोग कर रंगदारी की मांग कर रहा था। जिसमें रमेश ठाकुर का सहयोगी लदौरा निवासी विमलेश सिंह और करूआ निवासी मणि भूषण कुमार स्थानीय व्यवसायों का मोबाइल नंबर रमेश ठाकुर को उपलब्ध कराता था तथा उसकी गतिविधियों की हर जानकारी रमेश ठाकुर को उपलब्ध कराता था। विमलेश सिंह एवं मणि भूषण कुमार पुलिस की भी गतिविधि की जानकारी रमेश ठाकुर को उपलब्ध कराता था। वहीं सोमनाहा निवासी किशन कुमार और संजीत ठाकुर, मिल्की निवासी सुजीत कुमार, टारां निवासी रंजन ठाकुर एवं अन्य कई लोग रमेश ठाकुर को उसके हथियार को रखने, संरक्षण देने, अपराधिक घटनाओं को अंजाम देने एवं रंगदारी के रूप में वसूले गये रूपयों को रमेश ठाकुर तक पहुंचाता था।
अपराधिक इतिहास :
वर्ष 2011-12 में नेपाल में घटित तीन बड़े लूट की घटना में शामिल रमेश ठाकुर करीब 6 साल तक काठमांडू के तिरुपुरेश्वर जेल में बंद रहा।
वर्ष 2021 में शमशेर हत्याकांड एवं देवी लाल हत्याकांड में वांछित था।
वर्ष 2021 में मुजफ्फरपुर जिले के सकरा थाना में सीएसपी संचालक के साथ की गई लूटपाट एवं हत्या सहित कुल चार लूट के मामलों में रमेश ठाकुर वांछित था।
14 जनवरी 2022 को चकमेहसी थाना अंतर्गत मालीनगर उच्च विद्यालय के मैदान में क्रिकेट मैच खेलने के दौरान अपने साथी लक्ष्मण साहनी एवं शेखोपुर निवासी आलोक कुमार के साथ प्रशांत कुमार उर्फ मणि सिंह पर की गई गोलीबारी की घटना में शामिल।
वर्ष 2022 में धनबाद में हुए मुथूट फाइनेंस गोल्ड लोन, जमशेदपुर में हुई बैंक लूट तथा हरियाणा के भिवाड़ी में हुई एक्सिस बैंक में लूट की घटना में भी रमेश ठाकुर वांछित था।
वर्ष 2023 में करूआ निवासी डॉ. जितेंद्र एवं कल्याणपुर के ज्योति ज्वेलर्स के संचालक साधु कुमार के साथ मांगी गई रंगदारी की घटनाओं में भी शामिल।
इसके अतिरिक्त रमेश ठाकुर के अपराधिक इतिहास एवं अन्य कांडों में संलिप्तता के संबंध के बारे में पता लगाया जा रहा है। रमेश ठाकुर के गिरोह के प्रमुख सदस्य पुल्लू सिंह, रविरंजन सिंह उर्फ रम्मी उर्फ रमिया, रविंद्र साहनी, हनी राय एवं अन्य अपराध कर्मियों से उसके अपराधिक संबंध में छानबीन की जा रही है। अपराधियों के पास से बरामद सामान : 2 देसी पिस्टल, 4 देसी कट्टा, 4 जिंदा गोली, 1 एकनाली बंदूक
साढ़े तीन किलो गांजा ,4 मोबाईल ,1 अपाचे मोटरसाइकिल ।