मंडलायुक्त ने कलेक्ट्रेट परिसर के सभी पटल एवं अनुभागों का किया वार्षिक निरीक्षण 

 कलेक्ट्रेट में बनेगा नया राजस्व अभिलेखागार, मंडलायुक्त ने किया भूमिपूजन।  इंटीग्रेटेड कंट्रोल रूम से टीबी मरीज को फोन करके जाना स्वास्थ्य का हाल, टीबी मरीज से स्वास्थ्य सेवाओं के बारे में ली जानकारी।  मिलावटी खाद्य पदार्थों पर सख्ती बरतने के लिए खाद्य सुरक्षा के अधिकारियों को निर्देश।

रामपुर: रामपुर मे मंडलायुक्त आञ्जनेय कुमार सिंह ने जिलाधिकारी जोगिंदर सिंह, पुलिस अधीक्षक विद्या सागर मिश्र और मुख्य विकास अधिकारी नन्द किशोर कलाल के साथ कलेक्ट्रेट परिसर में राजस्व अभिलेखागार/जनोपयोगी केन्द्र का विधि-विधान के साथ भूमिपूजन किया।
मंडलायुक्त ने कलेक्ट्रेट परिसर में स्थित सभी पटल/ अनुभागों का वार्षिक निरीक्षण कर पत्रावलियों के सुव्यवस्थित ढ़ंग से रख रखाव, साफ सफाई सहित अन्य कार्यों का निरीक्षण किया और संबंधित अधिकारियों/ कर्मचारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।
मंडलायुक्त ने कंट्रोल रूम, संयुक्त कार्यालय, शस्त्र अनुभाग, नजारत, अभिलेखागार, दैवीय आपदा नियंत्रण कक्ष सहित विभिन्न अनुभागों का गहनता से निरीक्षण किया।
इस दौरान उन्होंने इंटीग्रेटेड कंट्रोल रूम का फीता काटकर उद्घाटन किया और कंट्रोल रूम के माध्यम से निःक्षय मित्र के अन्तर्गत टीबी मरीजों को दी जाने वाली सुविधाओं के बारे में सम्बन्धित पटल सहायक से जानकारी प्राप्त की साथ ही उन्होंने एक मरीज को रैंडम कॉल करके उसके स्वास्थ्य के बारे में पूंछा तथा विभाग द्वारा प्रदान की जा रहीं स्वास्थ्य सेवाओं के बारे में भी जानकारी ली।
मंडलायुक्त ने खाद्य सुरक्षा कार्यालय के निरीक्षण के दौरान खाद्य पदार्थों के नमूनों संग्रह और लैब टेस्टिंग आदि के बारे में पूंछा। उन्होंने अभिहित अधिकारी खाद्य सुरक्षा को निर्देशित किया कि त्यौहारों के दौरान ज्यादा से ज्यादा खाद्य पदार्थों के नमूने लिए जाए, क्योंकि इस दौरान बाजार में मिलावटी खाद्य पदार्थ भारी मात्रा में उपलब्ध हो जाते हैं, जिससे आमजन मानस के स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है।
 संयुक्त कार्यालय के निरीक्षण के दौरान उन्होंने स्थानीय निकाय, कोषागार पंजिका, गार्ड फाइल, अधिकारियों एवं कर्मचारियों की सर्विस बुक सहित अन्य पंजिकाओं का अवलोकन किया। छुटपुट कमियों के सम्बन्ध में मंडलायुक्त ने पटल सहायक को निर्देशित किया कि सभी रजिस्टर और पत्रावलियों में प्रविष्टियों को पूर्ण करें, इसमें किसी भी प्रकार की लापरवाही न बरती जाए।
निरीक्षण के दौरान मंडलायुक्त ने सीआरए एवं दैवीय आपदा कक्ष का भी निरीक्षण किया। निरीक्षण में विभिन्न तहसीलों से राजस्व वसूली और मांग बजट आदि रजिस्टरों को भी देखा, इन रजिस्टरों पर एसीआरए एवं सम्बन्धित पटल सहायक के संयुक्त हस्ताक्षर नहीं पाए गए, जिस पर उन्होंने नाराजगी व्यक्त की और पटल सहायकों को निर्देशित किया कि रजिस्टर एवं पत्रावलियों का रख-रखाव उचित तरीके से किया जाए। मंडलायुक्त ने सभी एसडीएम, तहसीलदार व अन्य अधिकारियों के साथ राजस्व मामलों को लेकर कलेक्ट्रेट सभागार में समीक्षा बैठक की।
मंडलायुक्त ने सभी एसडीएम को निर्देशित किया कि उनके न्यायालय में 5 वर्ष से अधिक समय के लंबित सभी मामलों को शीघ्रता से निस्तारित किया जाए साथ ही धारा 34 के मामले में बिना दोनों पक्षों को सुने कोई भी निर्णय न लें।
उन्होंने विभिन्न अनुभागों की 3 वर्ष से अधिक ऑडिट आपत्तियों का निस्तारण प्राथमिकता से करने के निर्देश दिए।
 नगर पालिका टांडा द्वारा 15 वें वित्त आयोग के अंतर्गत प्राप्त धनराशि के सापेक्ष विकास कार्य न कराए जाने पर नाराजगी व्यक्त करते हुए उन्होंने अधिशासी अधिकारी टांडा को प्रतिकूल प्रविष्टि निर्गत करने के निर्देश नगर मजिस्ट्रेट को दिए।
जिलाधिकारी ने कहा कि राजस्व मामलों में बेहतर प्रगति, राजस्व वादों के समयबद्ध निस्तारण और विभिन्न कार्यालयों में आमजन की सुविधा के सम्बन्ध में मंडलायुक्त द्वारा दिए गए निर्देशों का सख्ती से अनुपालन कराया जाएगा।
इस अवसर पर अपर आयुक्त सर्वेश कुमार गुप्ता, अपर जिलाधिकारी वि./रा. हेम सिंह, अपर जिलाधिकारी प्रशासन डॉ. नितिन मदान, नगर मजिस्ट्रेट संदीप कुमार वर्मा सहित सभी उपजिलाधिकारी एवं अन्य संबंधित अधिकारी/कर्मचारी मौजूद रहे।
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