सपा बाबा साहब वाहिनी ने दिया समर्थन, कहा- जनमुद्दों पर हठधर्मिता छोड़ें प्रशासन
ककराला में जनसमस्याओं के समाधान के लिए कांग्रेस का बेमियादी धरना आज 40वें दिन भी जारी रहा। इस दौरान समाजवादी पार्टी की बाबा साहब वाहिनी के प्रदेश सचिव एडवोकेट सी.एल. गौतम और जिलाध्यक्ष एडवोकेट दिनेश भारती ने धरनास्थल पर पहुंचकर समर्थन दिया।
भाजपाई राजनीति से बाधित हो रहे समाधान – अजीत यादव
धरने का नेतृत्व कर रहे कांग्रेस प्रदेश सचिव अजीत सिंह यादव ने भाजपा पर जनसमस्याओं को हल न होने देने का आरोप लगाते हुए कहा कि सत्ताधारी दल के नेता जिला प्रशासन पर दबाव बना रहे हैं। उन्होंने कहा कि भाजपा नेताओं ने ककराला और आसपास के क्षेत्रों में लगाए जा रहे मेडिकल कैंप भी बंद करा दिए, जो जनता के स्वास्थ्य के लिए बेहद आवश्यक थे।
संक्रामक बीमारियों से जूझ रही जनता
अजीत यादव ने कहा कि ककराला और आसपास के गांवों में डेंगू, चिकनगुनिया और मलेरिया जैसी बीमारियों ने महामारी का रूप ले लिया है। गरीब परिवार कर्ज लेकर इलाज कराने को मजबूर हैं। मेडिकल कैंप लगाकर स्थिति को कुछ हद तक संभाला गया था, लेकिन भाजपा के दबाव में इन्हें बंद कर दिया गया।
धरने पर उठाई गई मुख्य मांगें
धरने में जनहित से जुड़े कई मुद्दे उठाए जा रहे हैं, जिनमें शामिल हैं:
ककराला सीएचसी में इमरजेंसी चिकित्सा व्यवस्था
चौबीस घंटे डॉक्टरों की तैनाती
बच्चों और महिलाओं के लिए विशेषज्ञ डॉक्टर
एक्स-रे और सभी जांच सुविधाओं की उपलब्धता
सड़कों का निर्माण
ककराला-मुहम्मद गंज और ककराला-अलापुर सड़कों का पूर्ण निर्माण
आधार केंद्र की स्थापना
ककराला में आधार कार्ड संशोधन/निर्माण केंद्र की स्थापना
शैक्षिक और सामाजिक विकास
महिला डिग्री कॉलेज और पुस्तकालय की स्थापना
ककराला पशु अस्पताल में डॉक्टरों की नियुक्ति
सपा बाबा साहब वाहिनी ने दिया समर्थन
सपा के एडवोकेट सी.एल. गौतम ने कहा कि उनकी पार्टी जनता के साथ है और ककराला की सभी मांगों का समर्थन करती है। उन्होंने प्रशासन से आग्रह किया कि जनहित के इन मुद्दों को शीघ्र हल किया जाए।
जनता का आक्रोश और चुनावी संकेत
अजीत यादव ने कहा कि भाजपा की जनविरोधी नीतियों का जवाब जनता 2027 के विधानसभा चुनाव में देगी। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि प्रशासन ने हठधर्मिता नहीं छोड़ी तो आंदोलन और तेज होगा।
धरने पर नुरुल हसन, फैजियाब खान, अनीस खान, तजम्मुल अंसारी समेत बड़ी संख्या में लोग मौजूद रहे और अपने समर्थन से आंदोलन को बल दिया।