बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने दिया इस्तीफा, देश में आरक्षण मुद्दे पर विरोध प्रदर्शन के बाद बिगड़े हालात

बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने आज अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। देश भर में आरक्षण मुद्दे पर चल रहा विवाद अब बेहद गंभीर रूप ले चुका है, जिसके कारण बांग्लादेश में विरोध प्रदर्शन और दंगे बड़े पैमाने पर फैल गए हैं। इन दंगों की वजह से अब तक 300 लोगों की मौत हो चुकी है। ऐसे हालात में शेख हसीना पर इस्तीफा देने का दबाव था, और अंततः उन्होंने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है।

शेख हसीना ने देश छोड़ा, सेना के हेलीकॉप्टर से रवाना हुईं
सूत्रों के अनुसार, शेख हसीना सेना के हेलीकॉप्टर में देश छोड़कर किसी सुरक्षित स्थान पर चली गई हैं। उनके साथ उनकी बहन शेख रेहाना भी गई हैं। बांग्लादेश में बिगड़ते हालात को देखते हुए शेख हसीना को अपनी जान पर खतरा महसूस हो रहा था, इसी वजह से उन्होंने अपनी बहन के साथ देश छोड़ दिया।

क्या शेख हसीना भारत के लिए रवाना हुईं?
कुछ रिपोर्ट्स के मुताबिक, शेख हसीना ने अपनी बहन के साथ भारत के लिए उड़ान भरी है। यह कदम उन्होंने अपनी सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए उठाया है। हालांकि, इस बात की आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है कि शेख हसीना बांग्लादेश छोड़कर कहां गई हैं, लेकिन यह जानकारी सामने आई है कि उनका हेलीकॉप्टर भारतीय राज्य त्रिपुरा की राजधानी अगरतला में लैंड कर सकता है। गौरतलब है कि त्रिपुरा की सीमा बांग्लादेश से सटी हुई है, जिसके चलते त्रिपुरा-बांग्लादेश सीमा पर सुरक्षा कड़ी कर दी गई है।

बिगड़ते हालात और संभावित तख्तापलट की स्थिति
बांग्लादेश में प्रधानमंत्री आवास गोनो भवन को प्रदर्शनकारियों ने घेर लिया है। प्रदर्शनकारी दरवाजे खोलकर पीएम आवास के अंदर तक घुस गए हैं। शेख हसीना के इस्तीफा देने और देश छोड़ने के बाद बांग्लादेश में स्थिति और भी बिगड़ सकती है। अब वहां तख्तापलट की स्थिति भी बन सकती है। ऐसे में बांग्लादेश के आर्मी चीफ वाकर-उज़-ज़मान देश में सैन्य सरकार का गठन कर सकते हैं।

बांग्लादेश के लिए चुनौतीपूर्ण समय
बांग्लादेश इस समय बेहद चुनौतीपूर्ण दौर से गुजर रहा है। शेख हसीना के इस्तीफे और देश छोड़ने के बाद राजनीतिक अस्थिरता बढ़ गई है। आरक्षण मुद्दे पर हो रहे विरोध प्रदर्शनों ने देश की सामाजिक और राजनीतिक संरचना को हिला कर रख दिया है। आने वाले समय में देखना होगा कि बांग्लादेश इस संकट से कैसे उभरता है और क्या राजनीतिक समाधान निकलता है।

इस स्थिति के चलते बांग्लादेश में आंतरिक संघर्ष और अंतर्राष्ट्रीय कूटनीतिक संबंधों पर असर पड़ सकता है। उम्मीद की जा रही है कि जल्द ही बांग्लादेश में स्थिरता आएगी और लोग सामान्य जीवन की ओर लौट सकेंगे।

Leave A Reply

Your email address will not be published.