अमित शाह को इस्तीफा देना चाहिए: सांसद गुरजीत सिंह औजला
भाजपा का दोहरा चेहरा उजागर, डलालल्लेवाल से मिलने नहीं आया कोई प्रतिनिधिमंडल: गुरजीत औजला
अमृतसर : आम आदमी पार्टी की हार के बाद अब अमृतसर से सांसद गुरजीत सिंह औजला ने देश के गृह मंत्री अमित शाह के खिलाफ बयान दिया है। उन्होंने कहा कि शाह को बाबा साहेब भीम राव अंबेडकर पर की गई विवादास्पद टिप्पणी के लिए इस्तीफा देना चाहिए। औजला ने कहा कि अगर शाह ने अंबेडकर पर की गई टिप्पणियों के लिए माफी नहीं मांगी, तो उन्हें इस्तीफा देना चाहिए। उन्होंने कहा कि अगर शाह की सरकार पूर्ण बहुमत से सत्ता में आई होती, तो आज भारत का संविधान बदल चुका होता।
गुरजीत सिंह औजला ने कहा, राहुल गांधी का बयान सही है
औजला ने राहुल गांधी के बयान का समर्थन करते हुए कहा कि वह संविधान की रक्षा की बात हमेशा करते रहे हैं, और उनका रुख बिल्कुल सही है। औजला ने कहा कि अगर भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की सरकार पूर्ण बहुमत से सत्ता में आती, तो संविधान को बदलने का खतरा था, लेकिन अब वह सरकार जल्द ही इसका खामियाजा भुगतेगी।
बीजेपी की दोहरी नीति पर सवाल उठाए
औजला ने बीजेपी की दोहरी नीति पर भी सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि जब संसद में कुछ घटनाएं घटीं, तब सभी मंत्री और संतरी हाल जानने के लिए पहुंचे, लेकिन किसानों के लिए लंबे समय से संघर्ष कर रहे जगजीत सिंह दलेवाल से मिलने के लिए कोई प्रतिनिधिमंडल नहीं आया। उन्होंने इस मामले को बीजेपी की दोहरी नीति के रूप में प्रस्तुत किया और कहा कि यह दर्शाता है कि बीजेपी का रुख हमेशा से ही राजनीति और पढ़ाई से जुड़ा हुआ था।
पंजाब में कांग्रेस की शानदार जीत
औजला ने पंजाब में कांग्रेस की जीत पर खुशी जाहिर करते हुए कहा कि पंजाब के लोग कांग्रेस को पसंद करते हैं। उन्होंने यह भी कहा कि आम आदमी पार्टी ने जो दावा किया कि उनका वोट प्रतिशत बढ़ा है, वह सिर्फ एक बयान है। अगर आम आदमी पार्टी सच में मजबूत है, तो उसे अपने नगर निगम पार्षदों को एकजुट करके मेयर बनाना चाहिए।
आम आदमी पार्टी को अपने दृष्टिकोण पर विचार करना चाहिए
औजला ने आम आदमी पार्टी के अध्यक्ष अमन अरोड़ा से भी सवाल किया और कहा कि अगर आप वास्तव में मजबूत हैं, तो अपनी पार्टी को एकजुट कर मेयर पद पर काबिज हों। उन्होंने कहा कि जो व्यक्ति हार मानता है, वह जीवन में कभी सफल नहीं हो सकता। आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ताओं और नेताओं को अब यह समझना चाहिए कि जनता के बीच अपनी पैठ कैसे बनानी है।